डायरेक्ट टू मोबाइल पायलट प्रोजेक्ट भारत में 19 शहरों में शुरू हो सकता है।
प्रसार भारती का नेटवर्क प्रोजेक्ट के लिए उपयोग होगा।
D2M में मल्टीमीडिया कंटेंट बिना डेटा के ब्रॉडकास्ट होगा।
प्रोजेक्ट में टेलीकॉम कंपनियों और चिप मेकर्स का विरोध है।
चुनौतियों में टेलीकॉम कंपनियों का रेवेन्यू कम हो सकता है।
सचिव अपूर्व चंद्रा ने प्रोजेक्ट की चर्चा की है।
डी2एम से देशवासियों को फायदा हो सकता है।
भारत में लगभग 90 मिलियन घरों में अब भी टेलीविजन नहीं है।
इससे डेटा कंजम्प्शन में वृद्धि हो सकती है।
चंद्रा ने बताया कि D2M से 5G नेटवर्क पर लोड कम हो सकता है।
टेलीकॉम कंपनियां चिप मेकर्स के साथ मिलकर विरोध कर रही हैं।
प्रोजेक्ट की सफलता के बाद मोबाइल कंपनियों को अपने स्मार्टफोन्स में चिप लगाना होगा।